लखनऊ। राजधानी के लोगों को फिलहाल कोरोना वायरस से मुक्ति नहीं मिलती दिख रही है। पीजीआई में कार्डियोलॉजी के एमआईसीयू में भर्ती एक महिला मरीज में कोरोना की पुष्टि होने के बाद संस्थान में हड़कम्प मचा हुआ है। क्वीन मेरी की तरह यहां भी कार्डियोलॉजी विभाग के डॉक्टरों ने इस मरीज के कोरोना संक्रमण रिपोर्ट का इतंजार नही किया। जबकि क्वीनमेरी में एक नर्स में कोरोना संक्रमण की पुष्टि हुई है। नर्स को केजीएमयू के आईसोलेशन वार्ड में भर्ती किया गया है।
पीजीआई में नॉन कोविड होल्डिंग एरिया में भर्ती मरीज को एमआईसीयू में शिफ्ट कर लिया गया है। उसे पेसमेकर लगा दिया गया। रविवार की रात मरीज के संक्रमण पुष्टि होने के बाद एमआईसीयू औऱ कैथ लैब को सील कर दिया गया। गोरखपुर की इस संक्रमित मरीज को रात में ही राजधानी कोविड अस्पताल में शिफ्ट कर दिया गया। जबकि अन्य 5 मरीजो को स्वाइन फ्लू आईसीयू में शिफ्ट किया गया। 10 डॉक्टर, 8 नर्स समेत 40 स्वास्थ्य कर्मियों को क्वारंटाइन किया गया है।
गोरखपुर की यह महिला मरीज 15 मई को पीजीआई के होल्डिंग एरिया में में भर्ती हुई थी। उसी दिन मरीज के संक्रमण का नमूना जांच के लिए भेजा गया। 16 मई को कार्डियोलॉजी विभाग के प्रमुख डॉ . पीके गोयल ने मरीज को पेस मेकर लगा दिया। 17 मई की रात मरीज रिपोर्ट पॉजिटिव आने का बाद हडकम्प मच गया।
सीएमओ प्रवक्ता योगेश रघुवंशी के मुताबिक, सोमवार को राजधानी के क्वीन मेरी की एक नर्स में ही कोरोना संक्रमण की पुष्टि की गई है। केजीएमयू के मुताबिक निशातगंज की महिला नर्स कोरोना संक्रमण की चपेट में कैसे आई है। इसका पता लगाया जा रहा है। हांलाकि अभी तक वह नर्स किसके संपर्क में आने से संक्रमित हुई है यह पता नहीं लगाया जा सका है।
सीएमओ प्रवक्ता ने बताया कि सोमवार को राजधानी के अलग-अलग इलाकों से 170 लोगों के नमूने लिए गए। खदरा व आसपास इलाके में खुर्रम नगर पीएचसी प्रभारी डॉ धीरेन्द्र कुमार की अगुवाई में स्क्रीनिंग व जागरुकता अभियान चला। सोमवार को कुल 38 टीम ने 3250 घर की स्क्रीनिंग कर 15237 जनसंख्या को आच्छादित किया। लखनऊ में कोरोना मरीजों की संख्या 295 तक पहुंच गई है। इसमें 70 मरीज अन्य राज्यों के भी शामिल हैं।