उत्तर प्रदेश के हाथरस में दलित लड़की से गैंगरेप और हत्या मामला गर्माता जा रहा है। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने पीड़ित के परिजन से वीडियो कांफ्रेंसिंग के जरिए बातचीत की। पीड़ित के पिता ने मुख्यमंत्री से आरोपियों के खिलाफ कठोरतम कार्रवाई की मांग की। मुख्यमंत्री ने दोषियों के खिलाफ सख्त कार्रवाई का भरोसा दिया और 25 लाख रुपए की आर्थिक सहायता व एक सदस्य को कनिष्ठ सहायक के पद पर नौकरी, सरकारी मकान देने का वादा किया। योगी आदित्यनाथ ने हाथरस में दलित लड़की से गैंगरेप और हत्या मामले की जांच के लिए तीन सदस्यीय विशेष जांच दल (एसआईटी) गठित भी किया है।
शव के अंतिम संस्कार को लेकर एडीजी ने दी थी सफाई
इससे पहले हाथरस जिले में गैंगरेप की शिकार युवती के शव का अंतिम संस्कार मंगलवार देर रात भारी पुलिस फोर्स के बीच कर दिया गया। हालांकि, परिवार की तरफ से आरोप लगाया गया है कि पुलिस ने जबरन उनकी बेटी का अंतिम संस्कार कर दिया। उन्हें उनका चेहरा भी नहीं दिखाया गया। इस मामले के लेकर अब यूपी के एडीजी लॉ एंड आर्डर प्रशांत कुमार ने सफाई दी है। उन्होंने कहा है कि शव खराब हो रहा था इसलिए उसे जलाया गया, जबरन अंतिम संस्कार नहीं किया गया।
मोदी ने योगी को फोन करके मांगी थी जानकारी
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने बुधवार सुबह उत्तरप्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ को फोन कर हाथरस की घटना पर जानकारी मांगी थी। प्रधानमंत्री ने योगी को निर्देश दिया था कि हाथरस के दोषियों के खिलाफ के कठोर कार्रवाई की जाए।
पूरा मामला क्या है?
आरोपों के मुताबिक हाथरस जिले के थाना चंदपा इलाके के एक गांव में 14 सितंबर को चार लोगों ने 19 साल की दलित युवती से दुष्कर्म किया था। वारदात के बाद आरोपियों ने पीड़ित की रीढ़ की हड्डी तोड़ दी और उसकी जीभ काट दी। दिल्ली में इलाज के दौरान पीड़ित की मौत हो गई। इस मामले में चारों आरोपी गिरफ्तार किए जा चुके हैं। हालांकि, पुलिस का दावा है कि गैंगरेप और जीभ काटने के आरोप गलत हैं।
पुलिस की भूमिका पर सवाल
पीड़ित के परिजन पुलिस पर मामलों को रफा-दफा करने का आरोप लगा रहे हैं। उनका कहना है कि पुलिस ने जल्दबाजी में अंतिम संस्कार कर उसके दोबारा पोस्टमॉर्टम की संभावना को ही खत्म कर दिया। पीड़ित के भाई ने कहा कि हम दलित हैं इसलिए ये जबर्दस्ती की जा रही है। पहले बहन का गैंगरेप किया गया, फिर अपराधियों को गिरफ्तार करने में कोताही की गई और अब अंतिम संस्कार के दौरान ये सब किया गया। अब हमारे लिए सभी रास्ते बंद किए जा रहे हैं, गांव से पलायन करने के लिए मजबूर किया जा रहा है। इस मामले में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ से फोन पर बात की है।