नई दिल्ली। ईरान में फंसे भारतीयों में कोरोना वायरस की जांच के लिए गए भारतीय वैज्ञानिकों को वहां के अधिकारी अस्थायी प्रयोगशाला बनाने की इजाजत नहीं दे रहे हैं। लगभग 1,200 भारतीयों की लार का नमूना भारत लाया गया है, ताकि उनमें कोरोना के संक्रमण की जांच की जा सके। भारत के चार वैज्ञानिक कोरोना के संक्रमण की जांच के लिए इस समय तेहरान में हैं। आधिकारिक सूत्रों ने बताया कि वहां के अधिकारी भारतीय वैज्ञानिकों को अस्थायी प्रयोगशाला बनाने की इजाजत नहीं दे रहे। उनका कहना है कि वे सुरक्षा देने में सक्षम नहीं हैं। भारतीय वैज्ञानिक अब भी तेहरान में रुके हुए हैं और भारतीयों की लार का नमूना जुटाने में लगे हैं।
भारतीयों को स्वदेश लाना चाहती है केंद्र सरकार
उल्लेखनीय है कि ईरान कोरोना वायरस से सबसे ज्यादा प्रभावित देशों में शामिल है। भारत सरकार वहां फंसे भारतीयों को स्वदेश लाना चाहती है। अधिकारियों ने बताया कि सरकार ईरान में फंसे भारतीयों की जांच के लिए वहीं पर अस्थायी प्रयोगशाला बनाना चाहती है, ताकि वहां से लाने से पहले यह पता चल सके कि कोई व्यक्ति कोरोना से संक्रमित तो नहीं है। जो लोग ईरान में फंसे हुए हैं, उनमें ज्यादातर छात्र और तीर्थयात्री हैं। इसके अलावा एक हजार मछुआरे भी वहां फंसे हुए हैं।