सुप्रीम कोर्ट ने लोन मोरटोरियम मामले पर आज की सुनवाई अब कल यानी 14 अक्टबर के लिए टाल दी है। सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि लोन मोरटोरियम मामले से पहले आज उसे 24 मामलों की सुनवाई करनी है। हालांकि इन 24 मामलों की सुनवाई के बाद सुप्रीम कोर्ट ने लोन मोरटोरियम का मामला 14 अक्टूबर के लिए टाल दिया। लोन मोरटोरियम मामले की सुनवाई जो बेंच कर रही है उसमें जस्टिस अशोक भूषण हैं लेकिन लंच ब्रेक के बाद उन्हें किसी दूसरे मामले में सुनवाई के लिए दूसरे जजों के साथ बैठना है। लिहाजा यह मामला कल के लिए टाल दिया गया है। मोरटोरियम पीरियड के दौरान ना चुकाए गए EMI पर ब्याज माफ करने की याचिका पर जस्टिस अशोक भूषण की अगुवाई में जस्टिस आर सुभाष रेड्डी और एमआर शाह की एक बेंच सुनवाई कर रही है।
लोन मोरटोरियम मामले में अब तक क्या हुआ?
RBI ने मार्च में तीन महीने के लिए मोरटोरियम का ऐलान किया था। यानी कोरोनावायरस और लॉकडाउन के कारण अगर अगर कोई EMI नहीं चुका पा रहा है तो उस लोन को NPA नहीं माना जाएगा। बाद में इस मोरटोरियम पीरियड को बढ़ाकर 31 अगस्त कर दिया गया। इस कदम का मकसद कोरोनावायरस के मुश्किल वक्त में बॉरोअर्स की मदद करना था।
हालांकि बाद में EMI चुकाने वालों को EMI पर भी ब्याज देना पड़ रहा है जिससे कुल मिलाकर उनपर बोझ कम होने के बजाय बढ़ा है। इसी ब्याज के खिलाफ सुप्रीम कोर्ट में याचिका दायर की गई है।
सुप्रीम कोर्ट ने 3 सितंबर को सुनवाई के दौरान बैंकों को निर्देश दिया था कि जब तक इस मामले की सुनवाई नहीं हो जाती वह इन बकाया लोन को NPA में नहीं डाल सकती। इसके बाद 2 अक्टूबर को केंद्र सरकार ने सुप्रीम कोर्ट से कहा कि वह EMI पर लगने वाला ब्याज (कंपाउंड इंटरेस्ट) माफ कर सकता है। हालांकि सरकार ने साफ कहा था कि वह इंडिविजुअल और MSME बॉरोअर्स को मिलाकर सिर्फ 2 करोड़ रुपए तक का ही लोन माफ कर सकता है। इसके बाद केंद्र सरकार ने यह भी कहा था कि सुप्रीम कोर्ट वित्तीय मामलों में दखल ना दे। इस मामले पर सरकार का एकाधिकार है।